बिहार में कानून-व्यवस्था के मुद्दे पर लगातार घिर रही नीतीश सरकार के सामने एक के बाद एक नई मुसीबतें सामने आ रही हैं. पहले तो विपक्ष की ओर से सरकार को कठघरे में खड़ा किया जाता रहा है, लेकिन अब सरकार में शामिल दो बड़े दलों के दो विधायक ही आमने-सामने हैं. इनमें से एक अपनी जान बचाने की गुहार पुलिस से लगा रहा है तो दूसरा सफाई देने में लगा है. मामला भागलपुर से जुड़ा हुआ है जहां बिहपुर से भाजपा के विधायक इंजीनियर शैलेंद्र ने गोपालपुर से जेडीयू विधायक नरेंद्र कुमार नीरज उर्फ गोपाल मंडल से जान-माल का खतरा होने की बात कहते हुए पुलिस से सुरक्षा की मांग की है.
भाजपा विधायक ने जेडीयू विधायक से जान का खतरा बताते हुए पुलिस मुख्यालय में शिकायत की है. मीडिया रिपोर्ट्स के अनुसार सुरक्षा मुहैया कराने का आग्रह करते हुए इंजीनियर शैलेंद्र ने आईजी (सुरक्षा) को पत्र लिखा है. पुलिस मुख्यालय को भेजे पत्र में भाजपा विधायक ने लिखा है कि गोपालपुर विधायक आपराधिक घटनाओं में शामिल रहे हैं. उनपर गोपालपुर और बरारी थाना में घर में घुसकर गाली-गलौज करने और सरकारी कार्य में बांधा उत्पन्न करने का केस दर्ज है.
पुलिस ने भी इस मामले में एक्शन लिया है और उनके पत्र पर पुलिस मुख्यालय से डीआईजी (सुरक्षा) ने भागलपुर डीआईजी से जांच कर उचित कार्रवाई को कहा है. इस पूरे मसले पर भागलपुर प्रक्षेत्र के डीआईजी सुजीत कुमार का भी वक्तव्य सामने आया है जिसमें उन्होंने कहा के बिहपुर विधायक के पत्र के साथ मुख्यालय से पत्र प्राप्त हुआ है, जिसमें इस मामले की जांच कराकर उचित कार्रवाई को कहा गया है. मैंने नवगछिया एसपी को इस मामले की जांच कराने और बिहपुर विधायक की सुरक्षा को ध्यान में रख उचित कार्रवाई का निर्देश दिया है.
बता दें कि इससे पहले भी गोपालपुर विधायक की दबंगई की कई खबरें सामने आती रही हैं, लेकिन जनता दल यूनाइटेड द्वारा कोई कार्रवाई करने से बचता रहा है. बता दें कि बीते 21 दिसंबर को गोपालपुर व बिहपुर विधायक के बीच बातचीत का ऑडियो वायरल हुआ था, जिसमें विधायक ने कॉल कर उन्हें धमकी दी कि वह बिहपुर विधानसभा क्षेत्र तक ही सीमित रहें और गोपालपुर विधानसभा क्षेत्र में जो भाजपा का कार्यलय है, वहां नहीं आएं.
जबकि बिहपुर विधायक इंजीनियर शैलेंद्र का कहना था कि वह अपनी पार्टी के प्रचार-प्रसार के लिए कहीं भी जा सकते हैं पर गोपालपुर विधायक ने उन्हें अपने क्षेत्र में नहीं आने की धमकी दी जो उनके बढ़े मनोबल का परिचायक है. हालांकि ऑडियो के वायरल होने के बाद गोपाल मंडल ने प्रेस कान्फ्रेंस कर इंजीनियर को अपना छोटा भाई और खुद को दबंग कहते हुए सफाई दी थी.