बिहार के समाज कल्याण मंत्री मदन सहनी के विभाग में ट्रांसफर-पोस्टिंग की लिस्ट अब भी अटकी पड़ी है । मदन सहनी वही मंत्री हैं जिन्होंने बीते 1 जुलाई को अपने प्रधान सचिव अतुल प्रसाद पर मनमानी का आरोप लगाते हुए इस्तीफे का ऐलान कर दिया था। मंत्रीजी के रूठने और मानने के बीच 21 दिन बीत गए हैं लेकिन अब तक ना तो ट्रांसफर लिस्ट जारी हुई है और ना मंत्रीजी का इस्तीफा सामने आया है। मंत्री मदन सहनी और प्रधान सचिव अतुल प्रसाद के बीच विवाद की वजह है बाल विकास परियोजना पदाधिकारियों की ट्रांसफर लिस्ट। जून के अंतिम सप्ताह और जुलाई के पहले सप्ताह तक जहां लगभग हर विभाग में अधिकारियों और कर्मचारियों का ट्रांसफर हो गया है, वहीं समाज कल्याण विभाग में अबतक ट्रांसफर लिस्ट जारी नही हुआ है।
विभाग से मिली जानकारी के मुताबिक लगभग 150 सीपीडीओ के वर्तमान पदस्थापन की अवधि 3 साल हो चुकी है। नियमानुसार इन पदाधिकारियों को अब नया पदस्थापन मिलना चाहिए। समाज कल्याण विभाग ने 30 जून को 3 अधिसूचनाएं जारी कर 20 जिला प्रोग्राम पदाधिकारी और 18 बाल विकास परियोजना पदाधिकारियों के ट्रांसफर-पोस्टिंग की लिस्ट जारी की थी। लेकिन 1 जुलाई, जब मंत्री ने अपनी नाराजगी जाहिर की थी उसके बाद कोई भी ट्रांसफर लिस्ट विभाग की तरफ से अबतक जारी नहीं हुई है।
21 दिन पहले मंत्री मदन सहनी ने इस्तीफे का किया था ऐलान
मंत्री मदन सहनी जदयू के नेता हैं। सरकार में समाज कल्याण मंत्री हैं। मदन सहनी नीतीश कुमार के पुराने सिपाहियों में से एक हैं, इससे पहले भी वो नीतीश मंत्रिमंडल का हिस्सा रह चुका है। लेकिन, पहली बार समाज कल्याण मंत्री तब दिल्ली से दरभंगा तक चर्चा का विषय बनें जब उन्होंने बीते 1 जुलाई को अपने इस्तीफे का ऐलान कर दिया था। मंत्रीजी का कहना था कि उन्हें विभाग में काम करने नही दिया जा रहा और अफसर मनमानी कर रहे हैं।
मंत्रीजी की नाराजगी अपने प्रधान सचिव अतुल प्रसाद को लेकर थी। उन्होंने अतुल प्रसाद पर अपने द्वारा भेजी गई फाइल रोकने का आरोप लगाया था। मंत्री कहना था कि उन्होंने ट्रांसफर-पोस्टिंग की जो लिस्ट तैयार की है उसे अतुल प्रसाद जारी नहीं कर रहे हैं। अपने ऐलान के बाद पहले दरभंगा और फिर दिल्ली गए मंत्री जब पटना लौटे तो 2 दिन बाद उन्हें मुख्यमंत्री से मिलने का समय मिला। मुख्यमंत्री आवास में अधिकारी अतुल प्रसाद और मंत्री मदन सहनी को आमने-सामने बैठा कर सीएम ने बात की। लेकिन बात क्या हुई ये मदन सहनी ने अबतक जाहिर नहीं किया।
14 दिन से मीडिया के लिए आउट ऑफ रीच हैं मंत्री
1 जुलाई को मीडिया के सामने अपने इस्तीफे का ऐलान कर, अपनी व्यथा सुनाने वाले मदन सहनी 7 जुलाई से मीडिया के लिए आउट ऑफ रीच हो गए हैं। 7 जुलाई ही वो तारीख है जब मदन सहनी मुख्यमंत्री आवास पहुंचे थे। मीडिया मुख्यमंत्री आवास के बाहर मुलाकात पर जानकारी लेने के लिए खड़ी रही, लेकिन मदन सहनी 2 घंटे की मुलाकात के बाद मीडिया से बचते सीएम आवास के दूसरे रास्ते बाहर निकल गए। अब इस मुलाकात को 14 दिन बीत गए हैं। इस बीच मदन सहनी 2 से 3 दिन दफ्तर भी गए लेकिन मीडिया से दूरी बनाकर रखी। विभाग में कर्मचारियों को ये सख्त हिदायत दी गई है कि मीडिया को उनसे मिलने ना भेजा जाए। यही नहीं भास्कर ने ट्रांसफर-पोस्टिंग के मामले को लेकर उनसे संपर्क करने की कोशिश की। मंत्री जी नंबर पर मंगलवार शाम से लेकर बुधवार सुबह 10 बजे तक कई बार संपर्क करने की कोशिश की गई लेकिन उनका फोन बंद मिला ।