भाजपा सांसद सुशील कुमार मोदी ने ट्वीट कर कहा कि बिहार के एक जिले में कोरोना जांच में गडबडी पाये जाने पर राज्य सरकार ने तुरंत सिविल सर्जन सहित सात लोगों पर कार्रवाई की। यह भ्रष्टाचार पर जीरो टॉलरेंस की मिसाल है। विपक्ष इस सख्ती का स्वागत करने की बजाय आरोपियों को पॉलिटिकल कवर देने के लिए बडी मछलियों पर कार्रवाई की बात कर रहा है। राजद बताये कि मल–मिटी घोटाले में जब बडी मछलियां फंसी थीं‚ तब उनसे इस्तीफा क्यों नहीं दिलवाया गया था।
उन्होंने कहा कि लालू प्रसाद और राबडी देवी ने १५ साल जो सरकार चलायी‚ उसमें सबसे बडा था चारा घोटाला। इसके अलावा अलकतरा और बीएड डिग्री सहित कई घोटाले हुए। २०१५ में जब महागठबंधन सरकार के साथ लालू परिवार की दूसरी पीढी को सत्ता का पहला स्वाद मिला‚ तब केवल १९ महीनों में मल–मि^ी घोटाला सामने आ गया। जिनके परिवार और राजनीति के डीएनए में घोटाला है‚ वे नई एनडीए सरकार के मंत्रियों को काम करने से रोकने के लिए इस्तीफा मांगने की मुहिम छेडना चाहते हैं।
भंगेड़ी हैं, सदन में भांग खाकर आते हैं और महिलाओं का अपमान करते हैं
बिहार विधानमंडल के बजट सत्र के 9वें दिन बुधवार को सदन में खूब हंगामा हुआ। विधानसभा के बाहर पूर्व CM...