पंजाब में गुरुवार को राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू के दौरे से ठीक पहले खालिस्तान के समर्थन में नारे लिखे जाने की घटना से हड़कंप मच गया। राष्ट्रपति आज 4 घंटे के अमृतसर दौरे पर हैं। उनके विजिट से पहले यह नारे अमृतसर में गुरु नानक देव यूनिवर्सिटी (GNDU) के बाहर लिखे हुए मिले। नारे लिखवाने की जिम्मेदारी प्रतिबंधित आतंकी संगठन सिख फॉर जस्टिस (SFJ) ने ली है। अमेरिका में बैठे इस संगठन के प्रमुख गुरपतवंत सिंह पन्नू ने इससे जुड़ा वीडियो जारी किया।
खालिस्तानी नारों से जुड़ी सूचना मिलते ही अमृतसर जिला प्रशासन हरकत में आ गया। आनन-फानन में मौके पर पहुंचे अफसरों ने GNDU के बाहर लगा नारे लिखा बैनर उतरवा दिया।
अमृतसर में अगले हफ्ते G20 देशों के डेलिगेट्स की मीटिंग होनी है। यह मीटिंग GNDU में ही होगी। ऐसे में हैरानगी वाली बात है कि अतिसंवेदनशील स्पॉट के बाहर खालिस्तानी नारों वाले बैनर लगा दिए गए और पुलिस-प्रशासन को भनक तक नहीं लगी।
राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू आज 4 घंटे के अमृतसर दौरे पर हैं। उनका प्लेन दोपहर 12 बजे अमृतसर एयरपोर्ट पहुंचा। राष्ट्रपति गोल्डन टेंपल में माथा टेकने के अलावा जलियांवाला बाग, दुर्ग्याणा मंदिर और रामतीर्थ जाएंगी। उनके दौरे को देखते हुए दोपहर 12 बजे से 1 बजे तक अमृतसर ‘नो फ्लाई जोन’ घोषित किया गया है। इस दौरान सिर्फ लंदन और बर्मिंघम की दो पूर्व निधार्रित इंटरनेशनल फ्लाइट्स ही अमृतसर एयरपोर्ट से टेकऑफ करेंगी। इनके पैसेंजर को भी दोपहर 12 बजे से पहले एयरपोर्ट पहुंचने के निर्देश दिए गए।
राष्ट्रपति के विजिट से पहले, गुरुवार सुबह अमृतसर में गुरु नानक देव यूनिवर्सिटी (GNDU) के बाहर खालिस्तान के समर्थन वाले नारे लिखे बैनर लगे मिले। बैनरों पर ‘G20 का खालिस्तान में वेलकम’ और ‘खालिस्तान भारत का हिस्सा नहीं है’ लिखा था।
अमेरिका में बैठे SFJ प्रमुख गुरपतवंत सिंह पन्नू ने अपने वीडियो में कहा कि यह बैनर उसी ने लगवाए हैं। पन्नू ने 15 से 17 मार्च तक अमृतसर से लेकर बठिंडा तक रेलवे लाइन बाधित करने की धमकी भी दी।
पन्नू ने वीडियो में सिखों की सर्वोच्च संस्था, अकाल तख्त के जत्थेदार ज्ञानी हरप्रीत सिंह को भी नसीहत दे डाली। पन्नू ने कहा कि शिरोमणि गुरुद्वारा प्रबंधक कमेटी (SGPC) के टूटने की बात जत्थेदार हरप्रीत सिंह कर रहे हैं। वह इसे सिखों की मिनी पार्लियामेंट भी कह रहे हैं, लेकिन उन्हें पता है कि एसजीपीसी बादल परिवार के कब्जे में है। इसी बादल परिवार ने सिखों पर पहला हमला करवाया था। गोल्डन टेंपल पर हमला भी इन्हीं के कहने पर हुआ। बादल खुद केंद्र सरकार के इशारों पर चलते हैं।
आजादी के लिए हथियार उठाने की बात
पन्नू ने अपने वीडियो में अकाल तख्त जत्थेदार ज्ञानी हरप्रीत सिंह को नसीहत देते हुए कहा कि भारतीय हुकूमत को बद्दुआएं देने से खालिस्तान नहीं बनेगा। सिख आज भी गुलाम हैं और हथियार उठाने के बाद ही उन्हें आजादी मिलेगी।