बिहार में बीते कुछ दिनों से सीएम नीतीश कुमार (Nitish Kumar) और जदयू संसदीय बोर्ड के अध्यक्ष उपेंद्र कुशवाहा (Upendra Kushwaha) के बीच शीतयुद्ध चल रहा है. इसी बीच शुक्रवार को उपेंद्र कुशवाहा ने प्रेस कांफ्रेंस (Upendra Kushwaha Press Conference) कर अपनी बात रखी और जमकर सीएम नीतीश कुमार और जदयू पर अपनी भड़ास निकाली. उपेंद्र कुशवाहा ने कहा कि नीतीश कुमार ने मुझे फोन कर पार्टी में बुलवाया, मैं अपने मन से नहीं आया. जब-जब जदयू (JDU) कमजोर हुई मुझे पार्टी में बुलवाया गया है. अब नीतीश कुमार कह रहे हैं कि अपने मन से आए हैं. सीएम आवास का कॉल डिटेल निकलवा लें सच पता चल जाएगा. उपेंद्र कुशवाहा ने कहा कि उस समय नीतीश कुमार असहाय महसूस कर रहे थे. साथ रहने वाले किसी नेता ने विरोध नहीं किया था. नीतीश कुमार को खुद उठकर पक्ष रखना पड़ा.
उन्होंने कहा कि जदयू जब जब कमजोर हुई तब तब मेरी खोज हुई, 2009 में पार्टी कमजोर हुई थी तब बुलाया गया. उस चुनाव में जदयू बुरी तरह हारी थी तब बुलाया गया. 2020 के चुनाव में 43 सीट पर आए तब मुझे बुलाया गया. नीतीश कुमार अपने मन से काम करे तो अच्छा है, दूसरे की बात पर काम ना करे वरना और बुरी स्थिति होगी. अपने सलाहकार से सलाह लेकर काम करे तो और बुरा होगा. अभी स्थिति कम है आगे और बुरा होने वाला है. अगर नहीं संभले तो फिर भरपाई भी नहीं हो पाएगी. उपेंद्र कुशवाहा ने कहा कि आने वाले दिनों में साबित करूंगा की कैसे नीतीश डील हो रहे है, जल्द ही खुलासा करूंगा कि कैसे दूसरो के बात पर काम कर रहे, नीतीश कुमार खुद फैसला नहीं ले पा रहे हैं.
जेडीयू से अलग होने की बात पर उपेंद्र कुशवाहा ने इशारों ही इशारों में सीएम नीतीश कुमार को सीधा जवाब देते हुये कहा कि नीतीश कुमार के कहने से पार्टी नहीं छोडूंगा. मुझे पार्टी से अपना हिस्सा चाहिए. वहीं आरसीपी सिंह के साथ मिलने की बात पर उपेंद्र कुशवाहा ने कहा कि फिलहाल जदयू को मजबूत करने का काम करूंगा, मैने पार्टी में खून पसीना बहाया है.