उचित मानदेय और नौकरी स्थायी करने की मांग को लेकर विधानसभा का घेराव करने जा रहे पंचायत वार्ड सचिवाें काे गुरुवार काे पुलिस ने दाैड़ा-दाैड़ा कर पीटा। हजाराें प्रदर्शनकारी गांधी मैदान से निकले ताे पुलिस ने उन्हें जेपी गाेलंबर पर राेक दिया। इसके बाद प्रदर्शनकारियों ने बैरिकेडिंग को तोड़ने का प्रयास किया। पुलिस पर पत्थर भी फेंके।
इसके बाद पुलिस ने वाटर कैनन का इस्तेमाल किया। फिर भी नहीं माने ताे लाठीचार्ज कर दिया। लाठीचार्ज होते ही प्रदर्शनकारियों में भगदड़ मच गई। इस वजह से जेपी गोलंबर दो घंटे तक छावनी में तब्दील रहा। राज्य में करीब 1 लाख 15 हजार वार्ड सचिव कार्यरत हैं।
घायलों के लिए एंबुलेंस की व्यवस्था नहीं
जिसे जहां जगह मिली वहीं जान बचाने के लिए भागने लगे। पुलिस ने दुकानों में छुपे प्रदर्शनकारियों को निकाल कर गांधी मैदान के अंदर कर दिया। कुछ प्रदर्शनकारी गांधी मैदान की दीवार फांद कर अंदर घुसे। यहां भी पुलिस ने प्रदर्शनकारियों को दौड़ा-दौड़ा कर पीटा। जिन प्रदर्शनकारियाें काे ज्यादा चाेट लगी थी, वे गांधी मैदान में ही घंटों बेहोश रहे। इन्हें अस्पताल ले जाने के लिए एंबुलेस तक की व्यवस्था नहीं थी। संघ के नेताओं को पुलिस पकड़ कर ले गई। लाठीचार्ज में कई महिलाओं को भी चोट लगी है।
मांगें माने जाने तक जारी रहेगा प्रदर्शन
वार्ड सचिव रंजीत कुमार सहित अन्य प्रदर्शनकारियाें ने कहा कि चार साल से काम कर रहे हैं। अभी तक वेतन का भुगतान नहीं किया गया है। जब तक सरकार हमारी मांगें नहीं मानेगी, तब तक प्रदर्शन जारी रहेगा। उन्हाेंने कहा कि लाठीचार्ज में 20 से अधिक प्रदर्शनकारी घायल हो गए हैं। कई प्रदर्शनकारियों के कपड़े फट गए हैं।
चार नामजद और 600 अज्ञात पर केस
लाठीचार्ज में 20 से अधिक प्रदर्शनकारी घायल हो गए हैं। उधर हंगामे और जाम को लेकर गांधी मैदान एसएचओ रंजीत वत्स ने बताया कि चार नामजद और 600 अज्ञात लोगों पर प्राथमिकी दर्ज की गई है। साथ ही औरंगाबाद के वार्ड सचिव विभाष कुमार को गिरफ्तार किया गया है।