चुनाव पश्चिम बंगाल में है लेकिन उसकी गरमाहट बिहार में साफ तौर पर महसूस की जा सकती है। यहां के राजनीतिक दल बंगाल के दंगल में अपना दांव लगाना चाहते है। इसकी तैयारी भी काफी दिनों से की जा रही है। राष्ट्रीय पार्टी के तौर पर BJP और कांग्रेस बंगाल में आमने-सामने है। BJP ने तो वहां सत्ताधारी TMC को टक्कर देने के लिए अपनी कमर कस ली है। वहीं, बिहार के RJD, JDU, LJP और HAM इस चुनाव में अपने उम्मीदवार उतार कर अपने आप को आजमाना चाहते हैं। इसको लेकर सभी पार्टियों ने अपनी अलग-अलग टीमों को बंगाल चुनाव में लगाया है। साथ ही वहां अपनी पार्टी का विस्तार भी कर रहे हैं। इसके लिए सभी दल अपनी रणनीति बनाने में जुटे हैं।
RJD भी प्रयास में
RJD बंगाल में भी अपने पैर पसारना चाहता है। इसके लिए पार्टी ने वरिष्ठ नेता श्याम रजक और अब्दुल बारी सिद्दिकी को लगाया है। तेजस्वी यादव चाहते हैं कि बंगाल का चुनाव TMC के साथ मिल कर लड़ा जाए। इसके लिए तेजस्वी यादव खुद ममता बनर्जी के पास पहुंच गए थे लेकिन अब तक बात पक्की नहीं हो पाई है। पश्चिम बंगाल में लालू प्रसाद का प्रभाव रहा है, लेकिन उनके जेल में रहने से उस प्रभाव का फायदा नहीं मिल पाएगा। वैसे सीमांचल इलाकों में RJD को फायदा मिल सकता है।
JDU का बंगाल मिशन
बिहार में अपेक्षा से कम सीट आने के बाद JDU पश्चिम बंगाल विधानसभा चुनाव में अपनी किस्मत अजमाने वाला है। JDU के वरिष्ठ नेता गुलाम रसूल बलियावी पिछले 6-8 महीनों से प्रभारी के तौर पर बंगाल मिशन की तैयारी कर रहे है। JDU फिलहाल सीटों के चयन की तैयारी कर रहा है। पार्टी वहां कितनी सीटों पर अपने उम्मीदवार उतारेगी और किसी अन्य राजनीतिक दल के साथ गठबंधन होगा या अकेले चुनाव लड़ेगी, इस पर फैसला नहीं हो पाया है। लेकिन, चर्चा यह है कि बंगाल चुनाव में 75 सीटों पर JDU अपने उम्मीदवार उतार सकता है। हालांकि JDU का असर सीमांचल के इलाके में है। वैसे JDU को नीतीश कुमार की साफ छवि को लेकर उम्मीद ज्यादा है। सूत्रों की मानें तो पश्चिम बंगाल चुनाव प्रचार में मुख्यमंत्री नीतीश कुमार का जाना तय माना जा रहा है।
HAM का भी बंगाल में दम भरने का इरादा
हिन्दुस्तानी अवाम मोर्चा (HAM) के प्रमुख और बिहार के पूर्व मुख्यमंत्री जीतन राम मांझी पश्चिम बंगाल का दौरा कर चुके हैं। मांझी की पार्टी HAM पश्चिम बंगाल में 26 विधानसभा सीटों पर चुनाव लड़ने का मन बना रही है। कोलकाता, हावड़ा, दुर्गापुर, वर्दमान जैसे इलाके जो बिहार से सटे हैं, वहां की विधानसभा सीटों पर HAM अपने उम्मीदवार उतार सकती है। इन इलाकों में दलित और बिहारियों की संख्या काफी है।
बिहार में मात खाने के बावजूद LJP बंगाल में भरेगी दम
बिहार विधानसभा चुनाव में मात खाने के बाद LJP पश्चिम बंगाल विधानसभा चुनाव में उतरने की तैयारी कर रही है। वह भी एक, दो या 10-20 नहीं बल्कि बंगाल की सभी 295 सीटों पर। LJP के चुनाव लड़ने के पीछे की मंशा यह भी है कि इस फैसले से पार्टी के आधार को बढ़ाने और मजबूत करने में मदद मिलेगी। हालांकि LJP का बंगाल में कोई बड़ा आधार नहीं है। LJP के साथ बिहार के सभी क्षेत्रीय दल किसी के साथ कोई गठबंधन नहीं कर रहे हैं, जबकि बंगाल में चुनाव की अधिसूचना जारी हो चुकी है।