संसद के मानसून सत्र का आज यानी शनिवार (21 जुलाई) को दूसरा दिन है. मानसून सत्र के पहले दिन मणिपुर में महिलाओं को निर्वस्त्र घुमाने और यौन उत्पीड़न के वायरल वीडियो पर संसद में जमकर हंगामा हुआ. कई विपक्षी पार्टियों की ओर से मणिपुर हिंसा के मुद्दे पर स्थगन प्रस्ताव पेश किया गया था.
विपक्षी दलों ने संसद के दोनों सदनों में मणिपुर हिंसा पर चर्चा करने के लिए नोटिस दिया है. संभावना है कि शनिवार यानी मानसून सत्र के दूसरे दिन केंद्र सरकार की ओर से मणिपुर हिंसा को लेकर संसद में बयान दिया जा सकता है. दरअसल, केंद्र सरकार ने लोकसभा और राज्यसभा में इस मुद्दे पर चर्चा की बात को स्वीकार किया था.
विपक्षी दलों ने लोकसभा में नियम 193 और राज्यसभा में नियम 176 और 267 के तहत नोटिस दिया है. गौरतलब है कि संसदीय कामकाज के नियम 193 के तहत सदन में बिना वोटिंग के तहत बहस का प्रावधान है. किसी मुद्दे पर चार घंटे तक लोकसभा सदस्यों को चर्चा की अनुमति दी जाती है.
इसी तरह राज्यसभा के नियम 176 के तहत भी अल्पकालिक चर्चा के लिए नोटिस दिया जाता है. वहीं, नियम 267 के अनुसार, राज्यसभा में किसी भी बिजनेस को सस्पेंड किया जा सकता है. इसका मतलब है कि सदन में कोई अन्य बिजनेस को नहीं किया जा सकता है.
संसद के मानसून सत्र के पहले दिन मणिपुर हिंसा पर विपक्ष की नारेबाजी के बीच जमकर हंगामा देखने को मिला. तमाम विपक्षी दलों ने इस मुद्दे पर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के बयान की मांग की.
मणिपुर में दो महिलाओं को नग्न घुमाने और यौन उत्पीड़न का वीडियो सामने आने के बाद काफी विवाद मचा हुआ है. बताया जा रहा है कि ये वीडियो करीब तीन महीने पुराना है और पूर्वोत्तर राज्य में जातीय हिंसा भड़कने के एक दिन बाद 4 मई का बताया जा रहा है.
मानसून सत्र की शुरुआत होने से पहले प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने इस वीडियो को लेकर नाराजगी जाहिर की. पीएम मोदी ने कहा कि मेरा हृदय पीड़ा और क्रोध से भरा हुआ है. उन्होंने कहा कि मणिपुर की जो घटना सामने आई है वह किसी भी सभ्य समाज को शर्मसार करने वाली है.
पीएम मोदी ने कहा कि मैं देशवासियों को विश्वास दिलाना चाहता हूं कि दोषियों को बख्शा नहीं जाएगा. कानून पूरी सख्ती से एक के बाद एक कदम उठाएगा. हालांकि, लोकसभा और राज्यसभा में हंगामे के चलते कार्यवाही को पूरे दिन के लिए स्थगित कर दिया गया था.
मानसून सत्र के दूसरे दिन शनिवार को कांग्रेस के सांसद मनिकैम टैगोर, मनीष तिवारी और गौरव गोगोई ने लोकसभा में स्थगन प्रस्ताव का नोटिस दिया. सांसदों ने मणिपुर हिंसा पर संसद में पीएम नरेंद्र मोदी के बयान की भी मांग की है.
राज्यसभा में भी सांसदों ने दिया, कांग्रेस-AAP-आरजेडी के सांसदों ने दिया सस्पेंशन ऑफ बिजनेस का नोटिस
आम आदमी पार्टी के राज्यसभा सांसद संजय सिंह, कांग्रेस के सांसद राजीव शुक्ला और आरजेडी के सांसद मनोज कुमार झा ने नियम 267 के तहत सस्पेंशन ऑफ बिजनेस का नोटिस दिया है.