हरियाणा और जम्मू-कश्मीर की 90-90 विधानसभा सीटों पर वोटिंग पूरी हो गई है। वोटों की गिनती 8 अक्टूबर को होगी। उससे पहले शनिवार को एग्जिट पोल्स जारी किए गए। उसके आधार पर पोल ऑफ पोल्स भी सामने आया। दोनों राज्यों में सरकार बनाने के लिए 46 सीटें जरूरी हैं।
हरियाणा में 13 सर्वे एजेंसियों ने एग्जिट पोल किए। जम्मू-कश्मीर में भी 9 एजेंसियों ने एग्जिट पोल किया। इन सबको मिलाकर पोल ऑफ पोल्स का हिसाब लगाया गया।
पोल ऑफ पोल्स के मुताबिक, हरियाणा के 12 सर्वे में कांग्रेस की सरकार बनती दिख रही है। पार्टी को 56 सीटें मिलने का अनुमान है। भाजपा बहुमत से काफी दूर 27 सीटों पर सिमट सकती है।
पोल ऑफ पोल्स के मुताबिक, जम्मू-कश्मीर के 10 पोल में से 5 नेशनल कॉन्फ्रेंस-कांग्रेस गठबंधन की सरकार बना रहे हैं, जबकि 5 में वह बहुमत से 10 से 15 सीटें दूर दिख रही है। पार्टी को 40 सीटें मिलने का अनुमान है। भाजपा 30 सीटें ला सकती है। PDP और अन्य को 10-10 सीटें आएंगी।
हरियाणा और जम्मू-कश्मीर के पोल ऑफ पोल्स
हरियाणा के अधिकतर एग्जिट पोल्स में कांग्रेस की बंपर जीत का अनुमान है और बीजेपी 10 साल बाद सत्ता से बाहर होती दिख रही है. वहीं जम्मू-कश्मीर में कांग्रेस-नेशनल कॉन्फ्रेंस को बढ़त मिलती नजर आ रही है. सभी एग्जिट पोल के निचोड़ एनडीटीवी के पोल ऑफ पोल्स में हरियाणा में भाजपा को 27 और कांग्रेस को 54 सीटें मिलने का अनुमान है. वहीं जजपा को एक, इनेलो को 2 और अन्य को 27 सीटें मिलती दिख रही हैं. वहीं जम्मू-कश्मीर को लेकर पोल ऑफ पोल्स का अनुमान है कि यहां पर भाजपा को 27 सीटें मिल सकती हैं तो कांग्रेस-नेशनल कॉन्फ्रेंस की सीटों का आंकड़ा 42 तक पहुंच सकता है. जबकि पीडीपी 7 और अन्य 14 सीटें जीत सकते हैं.
हरियाणा में दैनिक भास्कर के एग्जिट पोल ने कांग्रेस को 44 से 54 और बीजेपी को 15 से 29 सीटें, वहीं ध्रुव रिसर्च ने बीजेपी को 22 से 32 और कांग्रेस को 50 से 64, Peoples Puls एग्जिट पोल ने कांग्रेस को 49 से 61 और बीजेपी को 20 से 32 सीटें वहीं रिपब्लिक भारत- Matrize ने कांग्रेस को 55 से 62 और बीजेपी को 18 से 24 सीटें मिलने का अनुमान जताया है.
जम्मू-कश्मीर के एग्जिट पोल्स में कांग्रेस और नेशनल कॉन्फ्रेंस सबसे आगे हैं. ‘इंडिया टुडे-सी वोटर’ के एग्जिट पोल में नेशनल कॉन्फ्रेंस और कांग्रेस का गठबंधन को 40-48 सीट मिलने का अनुमान है तथा भाजपा के खाते में 27-32 सीट जाने की संभावना जताई गई है. पीडीपी को छह से आठ सीट मिलने का अनुमान लगाया गया है. वहीं ‘रिपब्लिक-मैट्रिज’ के एग्जिट पोल में भाजपा को 28-30 सीट तो नेशनल कॉन्फ्रेंस-कांग्रेस गठबंधन को 31-36 सीट मिलने का अनुमान है. सर्वे में पीडीपी को पांच से सात तथा अन्य को आठ से 16 सीट मिलने का अनुमान है. वहीं ‘दैनिक भास्कर’ के सर्वे में नेशनल कॉन्फ्रेंस-कांग्रेस गठबंधन को 35-40 और भाजपा को 20-25 सीट मिल सकती हैं. इसमें पीडीपी को चार से सात और अन्य को 12-16 सीट मिलने का अनुमान है.
इन एग्जिट पोल में भी कांग्रेस-नेशनल कॉन्फ्रेंस को बढ़त
जम्मू-कश्मीर को लेकर सामने आए कई एग्जिट पोल में कांग्रेस-नेशनल कॉन्फ्रेंस को बढ़त दिखाई गई है. एबीपी सी वोटर के एग्जिट पोल में भाजपा को 27-32 सीटें, कांग्रेस-नेशनल कॉन्फ्रेंस को 40-48, पीडीपी को 6-12 सीटें व अन्य को 6-11 सीटें मिलने का अनुमान है. पीपुल्स पल्स के एग्जिट पोल में भाजपा को 23-27 सीटें, कांग्रेस-नेशनल कॉन्फ्रेंस को 46-50, पीडीपी को 7-11 सीटें और अन्य को 4-6 सीटें मिलने का दावा किया गया है. वहीं मनी कंट्रोल के एग्जिट पोल में भाजपा को 26 सीटें, कांग्रेस-नेशनल कॉन्फ्रेंस को 40, पीडीपी को 7 सीटें व अन्य को 17 सीटें मिलने की बात कही गई है.
हरियाणा और जम्मू कश्मीर के लिए क्या कहते हैं एग्जिट पोल?
हरियाणा विधानसभा चुनाव के लिए आए ज्यादातर एग्जिट पोल में यह संभावना जताई गई है कि कांग्रेस पूर्ण बहुमत की सरकार बना सकती है. दूसरी तरफ, अधिकतर एग्जिट पोल ने जम्मू-कश्मीर में खंडित जनादेश का अनुमान व्यक्त किया है.
‘रिपब्लिक-मैट्रिज’ के एग्जिट पोल में हरियाणा में कांग्रेस को 55-62 सीट तथा भाजपा को 18-24 सीट मिलने का अनुमान लगाया गया है. इस सर्वेक्षण में यह भी कहा गया है कि इनेलो को तीन से छह तथा जजपा को शून्य से तीन सीट मिल सकती हैं तथा अन्य के खाते में दो से पांच सीट जा सकती हैं.
‘दैनिक भास्कर’ के सर्वेक्षण के अनुसार, हरियाणा में कांग्रेस को 44-54 सीट तथा भाजपा को 19-29 सीट मिल सकती है. इनेलो को एक से पांच तथा अन्य को चार से छह सीट मिलने का अनुमान है.
‘इंडिया टुडे-सी वोटर’ के एग्जिट पोल में कहा गया है कि जम्मू-कश्मीर में नेशनल कांफ्रेंस और कांग्रेस का गठबंधन जम्मू-कश्मीर में बहुमत के करीब पहुंच सकता है. इस गठबंधन को 40-48 सीट मिलने का अनुमान लगाया गया है तथा भाजपा के खाते में 27-32 सीट जाने की संभावना जताई गई है. पीडीपी को छह से आठ सीट मिलने का अनुमान लगाया गया है.
‘रिपब्लिक-मैट्रिज’ के एग्जिट में कहा गया है कि जम्मू-कश्मीर में भाजपा को 28-30 सीट मिल सकती हैं तथा नेशनल कांफ्रेंस-कांग्रेस गठबंधन के खाते में 31-36 सीट जा सकती हैं. इस सर्वे में पीडीपी को पांच से सात तथा अन्य को आठ से 16 सीट मिलने का अनुमान लगाया गया है.
‘दैनिक भास्कर’ के सर्वेक्षण में संभावना जताई गई है कि जम्मू-कश्मीर में नेशनल कांफ्रेंस-कांग्रेस गठबंधन को 35 से 40 और भाजपा को 20-25 सीट मिल सकती हैं. इसमें पीडीपी को चार से सात और अन्य को 12-16 सीट मिलने का अनुमान है.
“चकित हूं कि…” : ‘एग्जिट पोल’ को लेकर बोले उमर अब्दुल्ला
नेशनल कॉन्फ्रेंस के नेता उमर अब्दुल्ला ने जम्मू-कश्मीर विधानसभा चुनाव के ‘एग्जिट पोल’ के नतीजों को खारिज करते हुए कहा कि आठ अक्टूबर को होने वाली मतगणना के आंकड़े ही मायने रखेंगे. उमर ने सोशल मीडिया मंच ‘एक्स’ पर एक पोस्ट में कहा, ‘मैं चकित हूं कि टीवी चैनल एग्जिट पोल को लेकर परेशान हैं, खासकर हाल के आम चुनावों में नाकामी के बाद. मैं टीवी चैनलों, सोशल मीडिया, व्हाट्सएप आदि पर होने वाले सभी शोरगुल को नजरअंदाज कर रहा हूं, क्योंकि केवल आठ अक्टूबर के आंकड़े ही मायने रखेंगे. बाकी सब बस टाइम पास है.’
ज्यादातर ‘एग्जिट पोल’ में नेशनल कॉन्फ्रेंस को सबसे बड़ी पार्टी के रूप में दिखाया गया है, उसके बाद भाजपा को सीट मिलने की संभावना जताई है.
एग्जिट पोल और ओपिनियन पोल में फर्क ओपिनियन पोल और एग्जिट पोल चुनावी सर्वे है। ओपिनियन पोल को चुनाव से पहले किया जाता है। इसके नतीजे भी चुनाव से पहले जारी होते हैं। इसमें सभी लोगों को शामिल किया जाता है। मतलब, जरूरी नहीं कि सर्वे के सवालों का जवाब देने वाला मतदाता ही हो। इस सर्वे में अलग-अलग मुद्दों के आधार पर जनता के मूड का अनुमान लगाया जाता है।
एग्जिट पोल चुनाव के दौरान किया जाता है। इसके नतीजे सभी फेज के मतदान खत्म होने के बाद जारी किए जाते हैं। एग्जिट पोल एजेंसियों के अधिकारी वोटिंग के दिन मतदान केंद्रों पर मौजूद होते हैं। वे मतदान करने के बाद वोटर्स से चुनाव से जुड़े सवाल पूछते हैं।
वोटर्स के जवाब के आधार पर रिपोर्ट बनाई जाती है। रिपोर्ट का आकलन किया जाता है, जिससे पता चले कि वोटर्स का रुझान किस तरफ ज्यादा है। इसके बाद नतीजों का अनुमान लगाया जाता है।