दिल्ली में यमुना का जलस्तर धीरे-धीरे कम हो रहा है, लेकिन बारिश के चलते खतरा पूरी तरह से टला नहीं है. इसी बीच मौसम विभाग ने यूपी समेत देख के कई राज्यों में भारी बारिश की चेतावनी जारी की है. मौसम विभाग के मुताबिक, अगले तीन दिनों तक उत्तराखंड, हिमाचल प्रदेश, जम्मू-कश्मीर, लद्दाख, गिलगित-बाल्टिस्तान और मुजफ्फराबाद के अलग-अलग हिस्सों में भारी बारिश के साथ बिजली गिरने के आसार हैं. इसके अलावा दिल्ली, उत्तर प्रदेश, राजस्थान, मध्य प्रदेश, हरियाणा, पंजाब, चंडीगढ़, छत्तीसगढ़, मध्य महाराष्ट्र, विदर्भ और मराठवाड़ा के अलग-अलग इलाकों में तेज हवाओं के साथ बारिश और बिजली गिरने की संभावना है. बिहार की राजधानी पटना समेत राज्य के उत्तरी हिस्सों में वर्षा की गतिविधियां बनी हुई हैं। इससे लोगों को उमस भरी गर्मी से राहत मिली है। मौसम विज्ञान केंद्र के अनुसार अगले तीन से चार दिनों तक मेघ गर्जन वज्रपात व वर्षा की गतिविधियां बनी रहेंगी। हिमाचल में 17 जुलाई तक तेज वर्षा की संभावना जताई गई है।
इन राज्यों में भी भारी बारिश की चेतावना
इनके अलावा उत्तर पश्चिम भारत और पूर्वी यूपी से लेकर पूर्वोत्तर के राज्यों में भी अगले पांच दिनों तक मौसम चुनौती भरा रहने वाला है. मौसम विभाग के मुताबिक, हिमाचल प्रदेश, उत्तराखंड, उप हिमालयी पश्चिम बंगाल, मेघालय और सिक्किम के अलग-अलग हिस्सों में अगले पांच दिन भारी से लेकर अत्यधिक भारी बारिश की संभावना जताई है. इन हिस्सों में 204.5 मिमी से अधिक बारिश हो सकती है. वहीं, उत्तर प्रदेश, पश्चिम मध्य प्रदेश और असम के अलग-अलग हिस्सों में भी 204.4 मिमी तक बारिश होने का अनुमान है. इसकी वजह वर्तमान में मौसम संबंधी कई तरह की गतिविधियों का जारी रहना है.
हिमाचल के इन जिलों में भारी बारिश की चेतावनी
भारत मौसम विज्ञान विभाग के मुताबिक, हिमाचल प्रदेश के बिलासपुर, सोलन, शिमला, सिरमौर, ऊना, हमीरपुर, मंडी, कांगड़ा, किन्नौर और कुल्लू जिलों में कई स्थानों पर गरज के साथ हल्की से मध्यम वर्षा होने की संभावना है. इसके अलावा कांगड़ा, सोलन, सिरमौर, बिलासपुर, सोलन, शिमला, सिरमौर, ऊना, हमीरपुर, बिलासपुर, कुल्लू और किन्नौर जिलों में कुछ स्थानों पर भारी वर्षा होने की संभावना है. विभाग का कहना है कि अगले 2-3 घंटों के दौरान शिमला के चौपाल, डोडरा क्वार, किन्नौर के सांगला, कांगड़ा के नूरपुर और आसपास के क्षेत्रों में बहुत भारी वर्षा होने की संभावना है.
बिहारः 26 जिलों में हल्की वर्षा व वज्रपात की चेतावनी
राजधानी पटना समेत राज्य के उत्तरी हिस्सों में वर्षा की गतिविधियां बनी हुई हैं। इससे लोगों को उमस भरी गर्मी से राहत मिली है। मौसम विज्ञान केंद्र के अनुसार, अगले तीन से चार दिनों तक मेघ गर्जन, वज्रपात व वर्षा की गतिविधियां बनी रहेंगी।
अगले 24 घंटों के दौरान पटना समेत 26 जिलों में हल्की वर्षा व वज्रपात की चेतावनी जारी की गई है। वहीं, शेष भागों में हल्की वर्षा की संभावना है। दक्षिण-पश्चिम, दक्षिण-मध्य, दक्षिण-पूर्व व उत्तर-पश्चिम भागों में व्रजपात को लेकर चेतावनी जारी करते हुए लोगों को सुरक्षित स्थानों पर रहने की सलाह दी गई है।
राजधानी पटना समेत उत्तरी हिस्सों में वर्षा की गतिविधियां बनी हुई हैं। वर्षा के कारण लोगों को उमस भरी गर्मी से राहत मिली है। मौसम विज्ञान केंद्र के अनुसार अगले तीन से चार दिनों तक मेघ गर्जन वज्रपात व वर्षा की गतिविधियां बनी रहेंगी। आज यानी रविवार को पटना समेत कई इलाकों में मेघ गर्जन के साथ झमाझम वर्षा से मौसम सुहाना बना रहेगा।
पिछले दिनों हुई वर्षा के कारण लोगों को उमस भरी गर्मी से राहत मिली है। रविवार को पटना व इसके आसपास इलाकों में सुबह से ही आंशिक बादल छाए रहे। दोपहर बाद उमड़-घुमड़ कर बादल बनते रहेंगे। शाम पांच बजे के आसपास तेज हवा के प्रवाह के साथ हल्की वर्षा से मौसम सुहाना बन जाएगा। पटना समेत भागलपुर, जिरादेई, सिवान, अररिया में हल्की वर्षा दर्ज की गई। पटना में 0.6 मिमी वर्षा दर्ज हुई।
दो-तीन दिनों के बाद उत्तर बिहार में होगी मध्यम वर्षा
उत्तर बिहार में अगले चौबीस घंटे में हल्की से मध्यम वर्षा होने की संभावना है। वहीं, तराई के क्षेत्रों खासकर पश्चिम चंपारण में भारी वर्षा हो सकती है। इसके बाद वर्षा की सक्रियता में कमी आएगी। डॉ. राजेंद्र प्रसाद केंद्रीय कृषि विश्वविद्यालय पूसा के मौसम विभाग की ओर से शुक्रवार को 19 जुलाई तक के लिए जारी मौसम पूर्वानुमान में कहा गया है कि अगले 24 घंटों में विशेष रूप से तराई के जिलों में कहीं- कहीं मध्यम वर्षा हो सकती है।
पश्चिम चंपारण जिलों में मध्यम से भारी वर्षा होने की संभावना है। जबकि अन्य सभी जिलों के अनेक स्थानों पर हल्की वर्षा हो सकती है। इन जिलों के कुछ स्थानों पर मेघ गर्जन के साथ आकाशीय बिजली गिरने की भी संभावना है।
11 जिलों में वज्रपात से 17 लोगों की मौत
शुक्रवार की देर शाम से शनिवार तक सूबे के 11 जिलों में वज्रपात से 17 लोगों की मौत हो गई, जिसपर मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने गहरी शोक संवेदना व्यक्त की है। वज्रपात से रोहतास में पांच तथा औरंगाबाद व बक्सर में दो-दो एवं अरवल, किशनगंज, कैमूर, वैशाली, सीवान, पटना, अररिया व सारण में एक-एक व्यक्ति की मौत हो गई। मुख्यमंत्री ने कहा कि आपदा की इस घड़ी में वह प्रभावित परिवारों के साथ हैं।
उन्होंने निर्देश दिया कि मृतकों के स्वजन को अविलंब चार-चार लाख रुपए का अनुग्रह अनुदान दिया जाए। मुख्यमंत्री ने लोगों से अपील की है कि सभी लोग खराब मौसम में पूरी सतर्कता बरतें। खराब मौसम होने पर वज्रपात से बचाव के लिए आपदा प्रबंधन विभाग द्वारा समय-समय पर जारी किए गए सुझावों का अनुपालन करें।
बिहार में कई गांवों में घुसा बाढ़ का पानी
तेज बारिश के कारण पूर्व व उत्तर बिहार की नदियों के जलस्तर में वृद्धि तेजी से होने लगी है। पूर्व बिहार में कोसी और सीमांचल की नदियां उफान पर हैं। इस वजह से बिहार-झारखंड के बीच गोड्डा जिला होकर आना-जाना भी मुश्किल हो गया है। बारिश की वजह से सीमावर्ती क्षेत्रों के लगभग 70 हजार से अधिक लोग प्रभावित हुए हैं।
अररिया, किशनगंज, पूर्णिया और कटिहार के कई गांवों में बाढ़ का पानी प्रवेश कर गया है। सहरसा में एक दर्जन स्कूलों में पानी घुस चुका है। खगड़िया के संतोष जलद्वार के पास बागमती खतरे के निशान से 19 सेंटीमीटर ऊपर बह रही है। अलौली प्रखंड के उत्तरी बोहरवा गांव में शुक्रवार की रात से शनिवार की सुबह तक सात घर जल में विलीन हो गए। वहीं उत्तर बिहार के जिलों में नेपाल में हो रही बारिश का भी असर देखा जा रहा है।