भारतीय कुश्ती संघ के अध्यक्ष और बीजेपी सांसद बृजभूषण शरण सिंह के खिलाफ धरने पर बैठे पहलवानों ने बड़ा ऐलान किया है। उन्होंने अपने धरने को आगे बढ़ाने का ऐलान करते हुए कहा कि जब तक बृजभूषण सिंह गिरफ्तार नहीं होंगे तब तक जंतर-मंतर पर उनका धरना जारी रहेगा। उन्होंने कहा कि जब कुश्ती संघ का अध्यक्ष ही पहलवानों का शोषण करेगा तो क्या ही होगा?
‘पुलिस की कार्रवाई तक जारी रहेगा धरना’
जंतर-मंतर पर धरना दे रहे पहलवानों ने आज प्रेस कांफ्रेंस करते हुए कहा कि सुप्रीम कोर्ट का हम धन्यवाद करते हैं। हमें दिल्ली पुलिस पर बिलकुल भी भरोसा नहीं है। अब कोर्ट ने जब पुलिस को कार्रवाई करने का आदेश दिया है तो अब पुलिस जो कार्रवाई करेगी उसके बाद अगला फैसला होगा। लेकिन तब तक धरना जारी रहेगा। बजरंग पुनिया, विनेश फोगाट और साक्षी मलिक ने प्रेस कांफ्रेंस में कहा कि उनकी प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से विनती है कि बृजभूषण शरण सिंह को सभी पदों से हटाया जाए। अगर वे पद पर रहे तो जांच को प्रभावित कर सकते हैं।
‘खेल मंत्री ने हमारा फोन तक नहीं उठाया’
उन्होंने कहा कि इस लड़ाई में जिन भी खिलाड़ियों ने हमारा समर्थन किया, हमारे समर्थन में ट्वीट किए उन सबका हम धन्यवाद करते हैं। उन्होंने कहा कि खिलाड़ियों से अपील है की अगर देश में खेलों को बचाना है तो ऐसे लोगों से खेलों को बचाना होगा। सब खिलाड़ियों को एक साथ आना होगा। उन्होंने कहा कि खेल मंत्री अनुराग ठाकुर ने हमसे 12 मिनट भी मुलाकात नहीं की है। खेल मंत्रालय के अधिकारियों ने हमें बताया था कि मंत्रीजी अभी किन्हीं अन्य कार्यों में बिजी हैं। उन्होंने हमारा फोन भी नहीं उठाया।
सुप्रीम कोर्ट में भी हुई सुनवाई
वहीं इससे पहले सुप्रीम कोर्ट में सुनवाई के दौरान दिल्ली पुलिस ने बताया कि बृजभूषण शरण सिंह के ख़िलाफ़ महिला पहलवानों की FIR रजिस्टर करेगी। वहीं पहलवानों की तरफ से बोलते हुए कपिल सिब्बल ने कहा कि हमें पहलवानों की सुरक्षा की चिंता है। उन्होंने कहा कि आरोपी के खिलाफ 40 मुकदमें दर्ज हैं और इसमें एक हत्या का भी मामला है। इसलिए कोर्ट एक स्पेशल टास्क फ़ोर्स बनाए। इस टास्क फ़ोर्स की अगुवाई एक रिटायर्ड जज करें।
दिल्ली पुलिस भारतीय कुश्ती महासंघ के अध्यक्ष बृजभूषण शरण सिंह (Brijbhushan Sharan Singh) पर आज एफआईआर दर्ज करेगी. दिल्ली पुलिस ने इसकी सूचना सुप्रीम कोर्ट में दी है. सुप्रीम कोर्ट ने शुक्रवार को सिंह के खिलाफ एफआईआर दर्ज कराने की मांग को लेकर दायर याचिका पर सुनवाई की. मुख्य न्यायाधीश डीवाई चंद्रचूड़ और जस्टिस पीएस नरसिम्हा की बेंच ने इस मामले की सुनवाई की. दिल्ली पुलिस की ओर से सुप्रीम कोर्ट में ये जानकारी दी गई. एक नाबालिग पहलवान सहित सात पहलवानों ने भारतीय कुश्ती संघ के अध्यक्ष बृजभूषण शरण सिंह पर यौन शोषण के आरोप लगाए हैं.
पहलवानों की याचिका पर सुनवाई के दौरान उनके वकील कपिल सिब्बल ने कहा कि वो पीड़ित लड़कियों की सुरक्षा को लेकर भी चिंतित है. उन्होंने कहा कि ये सब 2016 से चल रहा है. मौखिक शिकायत की गई, कुछ नहीं हुआ. फिर इस साल जनवरी में औपचारिक तौर पर बताया गया तो उन्होंने कहा कि कमेटी बना देते हैं. लेकिन कुछ नहीं हुआ. कम से कम एफआईआर तुरंत हो जानी चाहिए थी. दिल्ली पुलिस की ओर से पेश सॉलिसिटर जनरल तुषार मेहता ने कहा कि ये चिंता हम पर छोड़ दी जानी चाहिए. दिल्ली पुलिस कमिश्नर इस संबंध में सभी चिंता और सवालों को देख सकते हैं. उन्होंने कहा कि दिल्ली पुलिस ने खुद अपनी ओर से कहा है कि एफआईआर दर्ज कर रहे हैं.
कपिल सिब्बल ने दिया हलफनामा
दोनों पक्षों की दलीलों को सुनने के बाद मुख्य न्यायाधीश ने आदेश में कहा कि चूंकि इस मामले में संज्ञेय अपराध की शिकायत है, दिल्ली पुलिस ने एफआईआर दर्ज करने की बात कही है. पहलवानों के वकील कपिल सिब्बल ने सील कवर में एक हलफनामा दिया है, जिसमें कहा है कि उन्हें कथित तौर पर यौन शोषण का शिकार हुई नाबालिग लड़की की सुरक्षा का खतरा है. कोर्ट ने कहा कि वो दिल्ली पुलिस कमिश्नर को निर्देश देते हैं कि वो लड़की की सुरक्षा का इंतजाम करें और क्या सुरक्षा दी गई है, इसके बारे में हलफनामा भी दाखिल करें. मामले को अगले हफ्ते सुना जाएगा.