पीएम नरेंद्र मोदी ने शुक्रवार को अपने संसदीय क्षेत्र वाराणसी ने 1780 करोड़ रुपये की परियोजनाओं की सौगात दी. यहां पब्लिक ट्रांसपोर्ट रोप-वे का शिलान्यास करते हुए पीएम मोदी ने कहा, “नवरात्रि का पुण्य समय है. आज मां चंद्रघंटा की पूजा का दिन है. ये मेरा सौभाग्य है इस पावन अवसर पर आज मैं काशी की धरती पर आप सब के बीच हूं. मां चंद्रघंटा के आशीर्वाद से आज बनारस की सुख-समृद्धि में एक और अध्याय जुड़ रहा है, आज यहां पब्लिक ट्रांसपोर्ट रोप-वे का शिलान्यस किया गया है.”
उन्होंने कहा, “काशी के विकास की चर्चा आज पूरे देश और दुनिया में हो रही है, जो भी काशी आ रहा है वो यहां से नई ऊर्जा लेकर जा रहा है.आज काशी में पुरातन और नूतन दोनों स्वरूपों के दर्शन एक साथ हो रहे हैं. मुझे देश-विदेश में मिलने वाले लोग बताते हैं कि वो किस तरह विश्वनाथ धाम के पुनर्निर्माण से मंत्रमुग्ध हैं.”उन्होंने कहा कि रोड हो, पुल हो, रेल हो, एयरपोर्ट हो, कनेक्टिविटी के तमाम नए साधनों ने काशी आना-जाना बहुत आसान कर दिया है, लेकिन अब हमें एक कदम और आगे बढ़ना है. अब जो ये रोप-वे यहां बन रहा है, इससे काशी की सुविधा और आकर्षण दोनों बढ़ेगा.आज बनारस की एयर कनेक्टिविटी को मजबूत करने की दिशा में भी बड़ा काम हुआ है. बाबतपुर हवाई अड्डे में आज नए एटीसी टावर का लोकार्पण हुआ है.
टीबी मुक्त पंचायत की बड़ी पहल का शुभारंभ
आयोजन के दौरान प्रधानमंत्री मोदी टीबी-मुक्त पंचायत सरीखी पहल सहित विभिन्न कार्यक्रमों का शुभारंभ करेंगे. इस दौरान छोटे टीबी निवारक उपचार (टीपीटी) और टीबी के लिए परिवार केंद्रित देखभाल मॉडल को राष्ट्रीय स्तर पर भी लांच किया जाएगा. प्रधानमंत्री टीबी को समाप्त करने की दिशा में उल्लेखनीय काम करने वाले चुनिंदा राज्यों और केंद्र शासित प्रदेशों और जिलों को भी पुरस्कृत करेंगे. मार्च 2018 में नई दिल्ली में आयोजित एंड टीबी शिखर सम्मेलन के दौरान प्रधान मंत्री ने निर्धारित समय से पांच साल पहले 2025 तक टीबी से संबंधित एसडीजी लक्ष्यों को प्राप्त करने के लिए भारत का आह्वान किया था. इस कड़ी में वन वर्ल्ड टीबी सम्मेलन लक्ष्यों पर और विचार-विमर्श करने का अवसर प्रदान करेगा, क्योंकि भारत अपने टीबी उन्मूलन उद्देश्यों को पूरा करने के लिए तेजी से आगे बढ़ रहा है. यह कार्यक्रम राष्ट्रीय टीबी उन्मूलन प्रोग्राम से मिले सबक को प्रदर्शित करने का अवसर भी देगा. इस शिखर सम्मेलन में 30 से अधिक देशों के प्रतिनिधि भाग ले रहे हैं.
वाराणसी कैंट स्टेशन से गोदौलिया तक पैसेंजर रोपवे के शिलान्यास समेत अन्य परियोजनाएं
एक आधिकारिक विज्ञप्ति में कहा गया है कि पिछले नौ वर्षों में प्रधान मंत्री ने वाराणसी के परिदृश्य को बदलने और शहर और आसपास के क्षेत्रों में रहने वाले लोगों के जीवन को आसान बनाने पर विशेष ध्यान दिया है. अपने दौरे के दौरान प्रधानमंत्री मोदी वाराणसी कैंट स्टेशन से गोदौलिया तक पैसेंजर रोपवे का भी शिलान्यास करेंगे. परियोजना की लागत लगभग 645 करोड़ रुपये मानी जा रही है. रोपवे प्रणाली पांच स्टेशनों के साथ 3.75 किलोमीटर लंबी होगी. इससे पर्यटकों, तीर्थयात्रियों और वाराणसी के निवासियों को आवागमन में आसानी होगी. प्रधानमंत्री 300 करोड़ रुपये से अधिक की लागत से बनने वाले नमामि गंगा योजना के तहत भगवानपुर में 55 एमएलडी सीवेज ट्रीटमेंट प्लांट की आधारशिला रखेंगे. खेलो इंडिया योजना के तहत पुनर्विकास कार्य के चरण 2 और 3 का शिलान्यास सिगरा स्टेडियम में करेंगे. प्रधानमंत्री हिन्दुस्तान पेट्रोलियम कॉर्पोरेशन लिमिटेड द्वारा सेवापुरी के इसरवर गांव में एलपीजी बॉटलिंग प्लांट का शिलान्यास भी करेंगे. वह भरथरा गांव में प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र और चेंजिंग रूम के साथ फ्लोटिंग जेट्टी सहित कई अन्य परियोजनाओं की आधारशिला भी रखेंगे. जल जीवन मिशन के तहत प्रधान मंत्री 19 पेयजल योजनाओं को समर्पित करेंगे, जिससे 63 ग्राम पंचायतों के 3 लाख से अधिक लोग लाभान्वित होंगे. ग्रामीण पेयजल व्यवस्था को और मजबूत करने के लिए पीएम मोदी मिशन के तहत 59 पेयजल योजनाओं का शिलान्यास भी करेंगे.
किसानों, निर्यातकों और व्याारियों के लिए एकीकृत पैक हाउस
वाराणसी और उसके आसपास के किसानों, निर्यातकों और व्यापारियों के लिए, फलों और सब्जियों की ग्रेडिंग, छंटाई, प्रसंस्करण करखियांव में निर्मित एक एकीकृत पैक हाउस में संभव हो सकेगा. कार्यक्रम के दौरान प्रधानमंत्री इस परियोजना को राष्ट्र को समर्पित करेंगे. यह वाराणसी और आसपास के क्षेत्र के कृषि निर्यात को बढ़ावा देने में मदद करेगी. वह राजघाट और महमूरगंज सरकारी स्कूलों के पुनर्विकास कार्य, आंतरिक शहर की सड़कों के सौंदर्यीकरण और शहर के छह पार्कों और तालाबों के पुनर्विकास सहित वाराणसी स्मार्ट सिटी मिशन के तहत विभिन्न परियोजनाओं को समर्पित करेंगे. प्रधानमंत्री लाल बहादुर शास्त्री अंतरराष्ट्रीय हवाई अड्डे पर एटीसी टॉवर सहित विभिन्न अन्य बुनियादी ढांचा परियोजनाओं को भी समर्पित करेंगे; वाटर वर्क्स परिसर, भेलूपुर में 2 मेगावाट सौर ऊर्जा संयंत्र; कोनिया पम्पिंग स्टेशन पर 800 किलोवाट सौर ऊर्जा संयंत्र; सारनाथ में नया सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र; चांदपुर में औद्योगिक एस्टेट के बुनियादी ढांचे में सुधार और केदारेश्वर, विश्वेश्वर और ओंकारेश्वर खंड परिक्रमा के मंदिरों का कायाकल्प भी उनके कार्यक्रम में शामिल है.