स्थानीय प्राधिकार कोटे से होने वाले विधान परिषद चुनाव के लिए अभी तक भारत निर्वाचन आयोग ने अधिसूचना जारी नहीं की है। हालांकि, इस चुनाव में बतौर उम्मीदवार दावेदारी देने वाले क्षेत्र में ताल ठोंकने लगे हैं। विभिन्न दावेदार पंचायत प्रतिनिधियों को अपने पक्ष में गोलबंद करने के लिए हरसंभव प्रयास में जुट गए है। इससे जिले में चुनाव से पूर्व ही चुनावी सरगर्मी तेज हो गई है।
जदयू कोटे में गई यह सीट
स्थानीय प्राधिकार कोटे की मधुबनी जिला की विधान परिषद सीट पर विगत चुनाव में भाजपा उम्मीदवार सुमन कुमार महासेठ ने जीत दर्ज की थी, लेकिन इस बार यह सीट एनडीए के घटक दल जदयू के कोटे में आ गई है। एनडीए की ओर से पूर्व विधान पार्षद प्रो. बिनोद कुमार सिंह का जदयू उम्मीदवार होना तय माना जा रहा है। प्रो. बिनोद कुमार सिंह स्थानीय प्राधिकार कोटे से पहले भी विधान पार्षद रह चुके हैं। प्रो. सिंह इस चुनाव में बाजी मारने के लिए त्रिस्तरीय पंचायत प्रतिनिधियों से लगातार रु-ब-रू हो रहे हैं। वहीं, निवर्तमान विधान पार्षद सुमन कुमार महासेठ के भी चुनाव लड़ने की चर्चा जोरों पर चल रही है। लिहाजा, सुमन कुमार महासेठ का भी उम्मीदवार होना तय ही माना ही माना जा रहा है। सुमन कुमार महासेठ किसी दल के उम्मीदवार के रूप में चुनावी मैदान में उतरेंगे या फिर निर्दलीय उम्मीदवार के रूप में, इस पर फिलहाल संशय बना हुआ है।
महागठबंधन में भी बगावत की आशंका
वहीं, कांग्रेस को छोड़कर महागठबंधन के शेष दलों का साझा उम्मीदवार के रूप में राजद की ओर से पूर्व जिप उपाध्यक्ष एवं खुटौना के वर्तमान प्रमुख मो. मेराज आलम का चुनावी मैदान में उतरना तय माना जा रहा है। लौकहा के राजद विधायक एवं राजद के जिलाध्यक्ष भारत भूषण मंडल ने राजद उम्मीदवार के रूप में मो. मेराज आलम के नाम की घोषणा भी कर चुके हैं। मो. मेराज आलम भी त्रिस्तरीय पंचायत प्रतिनिधियों को अपने पक्ष में गोलबंद करने में जुट गए हैं। वहीं, राजद के पूर्व विधायक गुलाब यादव की पत्नी अंबिका गुलाब यादव का भी स्वतंत्र उम्मीदवार के रूप में चुनाव लड़ना तय है। अंबिका गुलाब यादव इस चुनाव में उतरने का निर्णय लें चुकी हैं। त्रिस्तरीय पंचायत प्रतिनिधियों को अपने पक्ष में गोलबंद करने के लिए जोरदार अभियान भी चला रखीं हैं।
कांग्रेस ने भी शुरू की तैयारी
कांग्रेस भी इस चुनाव में अपना उम्मीदवार उतारने की तैयारी में है। कांग्रेस के संभावित उम्मीदवार में सुबोध मंडल के नाम की भी चर्चा चल रही है। इसके अलावा भी कांग्रेस से कई दावेदार हैं। कांग्रेस जिलाध्यक्ष प्रो. शीतलांबर झा ने बताया कि इस चुनाव में कांग्रेस भी अपना उम्मीदवार उतारेगी। लेकिन, उम्मीदवार का निर्णय अभी नहीं हुआ है। इसके अलावा भी कई और नामों की चर्चा संभावित उम्मीदवार के रूप में हो रही है।
स्थानीय निकाय से होने वाले विधान परिषद सदस्य के चुनाव में मुजफ्फरपुर में दो बाहुबलियों के मैदान में उतरने की संभावना है। इसको लेकर चुनाव के दौरान दोनों में टकराव और हिंसक वारदात की आशंका जताई गई है। विशेष शाखा के पुलिस अधीक्षक ने इस संबंध में डीएम व एसएसपी से पत्राचार किया है। इसमें कहा गया है कि विधान पार्षद चुनाव की जल्द ही तिथि घोषित होने वाली है। इसमें दो दलों की ओर से बाहुबलियों को उम्मीदवार घोषित किए जाने की चर्चा है। दोनों संभावित प्रत्याशियों द्वारा क्षेत्र में चुनाव की तैयारी भी किए जाने की सूचना है। दोनों बाहुबलियों में टकराव से जिला के पंचायत प्रतिनिधियों पर हिंसक हमले हो सकते हैं। इससे विधि व्यवस्था की समस्या उत्पन्न होने की भी आशंका से इन्कार नहीं किया जा सकता है। विशेष शाखा के एसपी ने डीएम व एसएसपी से सूचना का सत्यापन कराते हुए यथाशीघ्र सतर्कता व आवश्यक कार्रवाई करने को पत्र भेजा है।