सत्ता के गलियारे में इस बार मकर संक्रांति के मौके पर नियमित रूप से होने वाला चूड़ा-दही का भोज स्थगित हो गया है। जनवरी में कुछ नेताओं की ओर से भी अलग-अलग जगहों पर भोज आयोजित होते रहे हैं उसे भी फिलहाल टाल दिया गया है।राजद प्रमुख लालू प्रसाद यादव और जदयू के पूर्व प्रदेश अध्यक्ष व राज्यसभा सांसद बशिष्ठ नारायण सिंह द्वारा लंबे समय से दही-चूड़ा भोज का आयोजन होता रहा है। लेकिन इस बार कोरोना का असर हुआ है। यह सियासी दही-चूड़ा इस बार न कोई खिला सकेगा और न खा सकेगा।
कोरोना के कारण टल गया आयोजन
बता दें लालू अपने सरकारी आवास में ही आयोजित करते रहे थे और जदयू का आयोजन पहले पटना क्लब में होता था। बाद में हार्डिंग रोड स्थित बशिष्ठ बाबू के सरकारी आवास पर होने लगा था। जदयू के प्रदेश अध्यक्ष उमेश सिंह कुशवाहा से जब इस वर्ष इस आयोजन के बारे में पूछा गया तो उन्होंने कहा कि फिलहाल इसे टाल दिया गया है। 21 तक तो कोविड को केंद्र में रख जारी सरकारी आदेश की वजह से किसी तरह के कार्यक्रम नहीं होने हैं। बाद में किस तरह की स्थिति होगी इस बारे में फिलहाल कुछ कहना संभव नहीं।
कांग्रेस के प्रदेश अध्यक्ष भी संक्रमित, वहां भी नहीं होगा भोज
मालूम हो कि लालू प्रसाद के जेल जाने और बाद में कोरोना की वजह से चूड़ा-दही भोज टलता रहा है। कांग्रेस द्वारा भी कुछ वर्षों से चूड़ा-दही भोज का आयोजन सदाकत आश्रम में कराया जाता रहा है। कांग्रेस के प्रदेश अध्यक्ष मदन मोहन झा शुक्रवार को कोरोना पाजिटिव हो गए। ऐसे में सदाकत आश्रम में भी सात दिन बाद यह आयोजन नहीं होगा। रालोजपा सूत्रों के अनुसार वहां भी इस वर्ष दही-चूड़ा भोज का आयोजन नहीं होगा। कई नेताओं द्वारा पटना में नए वर्ष के मौके पर अलग-अलग जगहों पर भोज का आयोजन होता रहा है। चाट पार्टी से लेकर दिवा भोज तक चर्चा में रहे हैैं। इस बाबत मिली जानकारी के अनुसार अब जनवरी में तो भोज का आयोजन संभव नहीं है। नई तारीख के बारे में अभी कुछ तय नहीं है।