कोरोना वैक्सीन से जुड़ी अफवाहें बिहार की राजनीति का हिस्सा बन गई हैं। नेता प्रतिपक्ष तेजस्वी यादव के अब तक टीका नहीं लेने पर भी बदजुबानी होने लगी है। मामला भाजपा के प्रदेश प्रवक्ता डॉ. राम सागर सिंह के बयान से जुड़ा है। राम सागर की मानें तो तेजस्वी यादव कोरोना से जुड़ी अफवाह के शिकार हो गए हैं। इसी का असर उनके विधायकों पर भी है।
अफवाह से डरे हैं तेजस्वी यादव : डॉ. राम सागर सिंह
भाजपा के प्रदेश प्रवक्ता डॉ. राम सागर सिंह ने नेता प्रतिपक्ष तेजस्वी यादव को लेकर एक बयान जारी किया है। बयान में राम सागर सिंह ने तेजस्वी यादव से टीका लेने की अपील की है, लेकिन इस अपील के साथ ही उन्होंने तेजस्वी और उनके विधायकों के अफवाह के शिकार होने की बात भी कही है।
राम सागर का कहना है कि तेजस्वी यादव यौन क्षमता कम होने की अफवाह पर यकीन किए बैठे हैं, इसलिए कोरोना का टीका नहीं ले रहे हैं। भाजपा नेता की मानें तो तेजस्वी यादव के साथ ही उनके विधायक भी इस तथाकथित अफवाह के शिकार हैं।
मामले को तूल देने से बचते दिखे तेजस्वी
नेता प्रतिपक्ष तेजस्वी यादव ने भाजपा के इस बयान पर बेहद सधा जवाब दिया है। उन्होंने भाजपा की मानसिकता पर सवाल उठाया है। साथ ही इस बयानी हमले को आशीर्वाद बताया है। तेजस्वी यादव ने जिस अंदाज में राम सागर सिंह के बयान का जवाब दिया है, उससे साफ है वो इस चर्चा को और तूल देना नहीं चाहते।
असल में तेजस्वी यादव इस मामले में थोड़े मुश्किल में हैं। वजह है कि टीकाकरण कराने को लेकर बिहार में विपक्ष का कुनबा धीरे-धीरे अलग थलग हो चुका है। बिहार कांग्रेस के नेता टीकाकरण करा चुके हैं। दूसरी तरफ यूपी में मुलायम सिंह यादव का परिवार, जो तेजस्वी यादव का रिश्तेदार भी है, उन्होंने भी टीका ले लिया है। ऐसे में तेजस्वी के पास टीकाकरण नहीं कराने का कोई वाजिब कारण दिखाई नहीं देता। यही वजह है कि वे निजी हमलों पर भी ज्यादा आक्रामकता नहीं दिखा पा रहे।
BJP, तेजस्वी यादव और उनके परिवार पर भ्रम फैलाने का लगाती रही है आरोप
राज्यसभा सांसद सुशील मोदी ने भी इस मामले को लेकर तेजस्वी यादव और उनके परिवार पर सवाल खड़े किए थे। सुशील मोदी ने तेजस्वी यादव के पिता लालू प्रसाद यादव को संबोधित करते हुए टीका नहीं लेकर जनता में भ्रम फैलाने का आरोप लगाया था।
सुशील मोदी ने यह आरोप इसलिए लगाया था, क्योंकि लालू परिवार के किसी भी सदस्य ने ना तो अब तक टीका लेने की बात स्वीकार की है और ना ही कोई फोटो सार्वजनिक किया है। कुछ ऐसा ही हाल राजद के विधायकों का भी है, जिनके टीका लेने की कोई जानकारी अब तक सामने नहीं आ सकी है।
इसे लेकर जब भी राजद से सवाल पूछा गया तो उन्होंने टाल दिया। लिहाजा सत्ता पक्ष यह बताने में लगा है कि प्रतिपक्ष के नेता और उनके विधायकों के कारण ही बिहार की एक बड़ी आबादी टीका लेने को तैयार नहीं है।