निजी अस्पताल कोविड़–१९ टीके की प्रति खुराक के लिए 250 रुपए तक का शुल्क ले सकते हैं। आधिकारिक सूत्रों ने शनिवार को यह जानकारी दी। देश में एक मार्च से 60 वर्ष से अधिक आयु के लोगों और गंभीर बीमारियों से ग्रसित 45 वर्ष से अधिक आयु के गंभीर बीमार लोगों का टीकाकरण करने की तैयारी चल रही है। उधर गुजरात सरकार ने घोषणा की है कि कोरोना टीका लगवाने के लिए योग्य व्यक्ति एक मार्च से निजी अस्पतालों में २५० रुपए में टीके की एक खुराक ले सकते हैं। कोविड़–१९ टीका सरकारी अस्पतालों में मुफ्त दिया जाएगा‚ जबकि निजी अस्पतालों में लोगों को इसके लिए भुगतान करना होगा। एक सूत्र ने बताया‚ “टीके के लिए अधिकतम शुल्क २५० रुपए लिया जाएगा‚ जिसमें १५० रुपए टीके की कीमत और १०० रुपए सेवा शुल्क है। यह व्यवस्था अगले आदेश तक लागू रहेगी।” सूत्रों के अनुसार राज्यों और केंद्र शासित प्रदेशों को इस बारे में सूचित कर दिया गया है। केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय ने शुक्रवार को कहा था कि ‘ऑन–साइट’ पंजीकरण कराने की सुविधा उपलब्ध होगी‚ ताकि योग्य लाभार्थी अपनी पसंद के टीकाकरण केंद्र पर जाकर अपना पंजीकरण कराएं और टीका लगवाएं। टीके के लाभार्थी को–विन २.० पोर्टल ड़ाउनलोड़ कर और आरोग्य सेतु आदि मोबाइल ऐप के जरिए पहले भी अपना पंजीकरण करा सकते हैं।
केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय ने शुक्रवार को कहा था कि ‘ऑन-साइट’ पंजीकरण कराने की सुविधा उपलब्ध होगी, ताकि योग्य लाभार्थी अपनी पसंद के टीकाकरण केंद्र पर जाकर अपना पंजीकरण कराएं और टीका लगवाएं. टीके के लाभार्थी को-विन 2.0 पोर्टल डाउनलोड कर और आरोग्य सेतु आदि मोबाइल ऐप के जरिए पहले भी अपना पंजीकरण करा सकते हैं. मंत्रालय ने कहा था कि लाभार्थी अपनी पसंद के कोविड-19 टीकाकरण केंद्र (सीवीसी) को चुन सकते हैं और टीका लगवाने के लिए अपना समय निर्धारित करवा सकते हैं. मंत्रालय ने कहा था कि सभी लाभार्थियों को अपना एक तस्वीर युक्त पहचान पत्र–आधार कार्ड, मतदाता पहचान पत्र–आदि लेकर टीकाकरण केंद्र जाना होगा. वहीं, किसी बीमारी से ग्रसित 45 वर्ष से अधिक उम्र का लाभार्थी होने की स्थिति में बीमारी से संबद्ध प्रमाणपत्र भी साथ लाना होगा, जिस पर पंजीकृत चिकित्सक के हस्ताक्षर होने चाहिए.
45 से 59 साल के इन बीमारियों से ग्रसित लोगों को लाना होगा प्रमाणपत्र
वे मरीज जो दिल के मरीज हों हार्ट फ्लेयोर की शिकायत के बाद पिछले एक साल से इलाज चल रहा हो, जिनका हार्ट ट्रांसप्लांट हो चुका हो. या किसी भी तरह की दिल की बीमारी से ग्रसित हों वो भी लगवा सकेंगे टीका. भारत सरकार ने 45 से 59 साल के उन गंभीर बीमारियों से ग्रसित मरीजों की एक सूची निकाली है जो टीका लगवा सकते हैं. दिल के मरीज हों और हाइपर टेंशन हों और डायबिटीज का इलाज चल रहा है. ये टीका वह भी लगवा सकते हैं जिनका किडनी और लीवर का ट्रांसप्लांट हो चुका हो.या जिनकी किडनी की बीमारी आखिरी स्टेज पर हो.
सांस की शिकायत वाले मरीज
वे कैंसर के मरीज जिनकी बीमारी का पता एक जुलाई 2020 को पता चला हो या फिर वे किसी कैंसर थैरेपी से गुजर रहे हों. एचआईवी से संक्रमित मरीज भी इस टीके को लगवा सकते हैं.