प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को प्रतिष्ठित ग्लोबल गोलकीपर्स अवॉर्ड से सम्मानित किया गया. ये अवॉर्ड उन्हें सफल स्वच्छता अभियान के लिए दिया गया है. बिल एंड मिलिंडा गेट्स फाउंडेशन की तरफ से उन्हें ये सम्मान खुद बिल गेट्स ने दिया. इस मौके पर पीएम मोदी ने कहा कि वो ये सम्मान उन भारतीयों को समर्पित करते हैं जिन्होंने स्वच्छ भारत मिशन को एक जनआंदोलन में बदला.
गांधी जी का सपना पूरा किया
पीएम मोदी ने कहा, ‘ऐसे अनेक जनआंदोलन आज भारत में चल रहे हैं. मुझे 1.3 बिलियन भारतीयों के सामर्थ्य पर पूरा विश्वास है. मुझे विश्वास है कि स्वच्छ भारत अभियान की तरह बाकी मिशन भी सफल होंगे. आज मुझे इस बात की भी खुशी है कि महात्मा गांधी ने स्वच्छता का जो सपना देखा था, वो अब साकार होने जा रहा है. गांधी जी कहते थे कि एक आदर्श गांव तभी बन सकता है, जब वो पूरी तरह स्वच्छ हो. आज हम गांव ही नहीं, पूरे देश को स्वच्छता के मामले में आदर्श बनाने की तरफ बढ़ रहे हैं’.
कार्यक्रम के दौरान अपने संबोधन में पीएम मोदी ने कहा कि महात्मा गांधी की 150 जन्म जयंती पर मुझे ये अवार्ड दिया जाना मेरे लिए व्यक्तिगत रूप से भी बहुत महत्वपूर्ण है। उन्होंने कहा अगर 130 करोड़ लोगों की जनशक्ति, किसी एक संकल्प को पूरा करने में जुट जाए, तो किसी भी चुनौती पर जीत हासिल की जा सकती है। जब एक लक्ष्य को लेकर, एक मकसद को लेकर काम किया जाता है, अपने काम के लिए प्रतिबद्धता होती है, तो ऐसी बातें मायने नहीं रखतीं। मेरे लिए मायने रखता है 130 करोड़ भारतीयों का अपने देश को स्वच्छ बनाने के लिए एकजुट हो जाना। इसीलिए मैं ये सम्मान उन भारतीयों को समर्पित करता हूं जिन्होंने स्वच्छ भारत मिशन को एक जनआंदोलन में बदला, जिन्होंने स्वच्छता को अपनी दैनिक जिंदगी में सर्वोच्च प्राथमिकता देनी शुरू की।
Leading the global march towards achieving SDGs
PM @narendramodi was conferred the prestigious Global Goalkeepers Award by @gatesfoundation for his role as a catalyst in implementing the largest, most complex sanitation intervention in India through #SwachhBharatMission. pic.twitter.com/V140VxrqE9
— Raveesh Kumar (@MEAIndia) September 25, 2019
उन्होंने कहा बीते पांच साल में देश में रिकॉर्ड 11 करोड़ से ज्यादा शौचालयों का निर्माण कराया जा सका। इसी का नतीजा है कि 2014 से पहले जहां ग्रामीण स्वच्छता का दायरा 40% से भी कम था आज वो बढ़कर करीब-करीब 100 प्रतिशत पहुंच रहा है। स्वच्छ भारत मिशन की सफलता, किसी भी आंकड़े से ऊपर है। इस मिशन ने अगर सबसे ज्यादा लाभ किसी को पहुंचाया तो वो देश के गरीब को, देश की महिलाओं को।
2025 तक हमने भारत को टीबी से मुक्त करने का लक्ष्य रखा है। National Nutrition Mission से एनीमिया जैसी समस्या पर भी भारत बहुत तेजी से काबू पाने वाला है। जल जीवन मिशन के तहत हमारा फोकस Water conservation और Recycling पर है, ताकि हर भारतीय को पर्याप्त और साफ पानी मिलता रहे।
उन्होंने कहा भारत ने साल 2022 तक सिंगल यूज़ प्लास्टिक से मुक्ति का अभियान भी चलाया है। आज जब मैं आपसे बात कर रहा हूं, तब भी भारत के अनेक हिस्सों में प्लास्टिक वेस्ट को इकट्ठा करने का काम चल रहा है। मुझे 1.3 बिलियन भारतीयों के सामर्थ्य पर पूरा विश्वास है। मुझे विश्वास है कि स्वच्छ भारत अभियान की तरह बाकी मिशन भी सफल होंगे।
किसी भी चुनौती को जीता जा सकता है’
प्रधानमंत्री के मुताबिक, जब एक लक्ष्य और मकसद को लेकर काम किया जाता है तो कुछ भी हासिल किया जा सकता है. उन्होंने कहा, ‘महात्मा गांधी की 150वीं जयंती पर मुझे ये अवार्ड दिया जाना मेरे लिए व्यक्तिगत रूप से भी बहुत महत्वपूर्ण है. ये इस बात का प्रमाण है कि अगर 130 करोड़ लोगों की जनशक्ति, किसी एक संकल्प को पूरा करने में जुट जाए, तो किसी भी चुनौती पर जीत हासिल की जा सकती है.’
स्वच्छता अभियान का असर
बिल एंड मिलिंडा गेट्स फाउंडेशन की तरफ से रिपोर्ट में कहा गया है कि भारत में ग्रामीण स्वच्छता बढ़ने से बच्चों में दिल की बीमारी की समस्या कम हुई हैं और महिलाओं के बॉडी मास इंडक्स (Body Mass Index) में भी सुधार आया है.